श्री खाटू श्याम आरती |ओम जय श्री श्याम हरे

श्री खाटू श्याम जी की आरती हिंदू भक्तों के लिए एक महत्वपूर्ण आध्यात्मिक अनुष्ठान है। यह आरती न केवल भगवान श्याम के प्रति भक्ति भाव को व्यक्त करती है बल्कि मन को शांत और आत्मिक शक्ति से भर देती है।

आप श्री खाटू श्याम आरती |ओम जय श्री श्याम हरे नीचे से पढ़ सकते है |

श्री खाटू श्याम आरती

ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।
खाटू धाम विराजत,
अनुपम रूप धरे॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

रतन जड़ित सिंहासन,
सिर पर चंवर ढुरे ।
तन केसरिया बागो,
कुण्डल श्रवण पड़े ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

गल पुष्पों की माला,
सिर पार मुकुट धरे ।
खेवत धूप अग्नि पर,
दीपक ज्योति जले ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

मोदक खीर चूरमा,
सुवरण थाल भरे ।
सेवक भोग लगावत,
सेवा नित्य करे ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

झांझ कटोरा और घडियावल,
शंख मृदंग घुरे ।
भक्त आरती गावे,
जय-जयकार करे ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

जो ध्यावे फल पावे,
सब दुःख से उबरे ।
सेवक जन निज मुख से,
श्री श्याम-श्याम उचरे ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

श्री श्याम बिहारी जी की आरती,
जो कोई नर गावे ।
कहत भक्त-जन,
मनवांछित फल पावे ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

जय श्री श्याम हरे,
बाबा जी श्री श्याम हरे ।
निज भक्तों के तुमने,
पूरण काज करे ॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे।
खाटू धाम विराजत,
अनुपम रूप धरे॥
ॐ जय श्री श्याम हरे,
बाबा जय श्री श्याम हरे ।

श्री खाटू श्याम आरती
श्री खाटू श्याम आरती

निष्कर्ष

श्री खाटू श्याम आरती एक अद्भुत अनुभव है। यह आरती न केवल भगवान श्याम के प्रति भक्ति भाव को व्यक्त करती है बल्कि मन को शांत और आत्मिक शक्ति से भर देती है। यदि आप भी भगवान श्याम के भक्त हैं तो आपको नियमित रूप से आरती का गायन करना चाहिए।

Leave a Comment